गाजियाबाद (4 दिसंबर 2019)-नोएडा और ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी की तरह जीडीए भी अपने ग्राहकों को राहत देने के मूड में है। जी हां गाजियाबाद विकास प्राधिकरण यानि जीडीए भी अब नोएडा और ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की तर्ज पर आवंटित संपत्ति का भुगतान दस वर्षों तक लेने की तैयारी कर रहा है। दरअल अभी तक जीडीए अपने आवंटियों को पांच वर्ष की क़िस्तो में भुगतान की सुविधा देता है। लेकिन नोएडा और ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण अपने आवंटियों को दस साल की किश्तों में भुगतान की सुविधा देते हैं। जीडीए वीसी कंचन वर्मा ने बताया कि बोर्ड के समक्ष एक प्रस्ताव रखने की तैयारी शुरू कर दी गई है। प्रस्ताव का मसौदा तैयार करने के लिए कमेटी गठित कर दी गई है। कमेटी नोएडा और प्राधिकरण के उपलब्ध कराई जा रही सुविधाओं का भी अध्ययन कर रही है।
जीडीए वीसी का कहना हैं कि किश्तों पर भुगतान के लिए पांच वर्षों का समय बहुत कम है। ईडब्लूएस भवनों के लिए आवेदक की आय तीन लाख सालाना और एलआईजी के लिए छह लाख रूपए सालाना आय की सीमा निर्धारित है। इतनी कम आय पर एनसीआर में परिवार चलाने के साथ मकान की किश्त देना काफी मुश्किल है। हालांकि आवेदक जीडीए से किश्तों पर भुगतान की सुविधा लेने के बजाय बैंक से लोन लेकर एक मुश्त भुगतान करना ज्यादा मुनासिब समझते हैं और बैंकों से 15 से 20 वर्षों तक ईएमआई के भुगतान की सुविधा ले लेते हैं, लेकिन बैंक से लोन मंजूर होना भी उतना आसान नहीं है और कई आवेदक बैंक की औपचारिकताएं पूरी नहीं कर पाते। ऐसे में जीडीए अगर दस वर्षों तक किश्तों में भुगतान की सुविधा देगा तो उनके लिए बेहतर रहेगा।
जीडीए वीसी ने बताया कि गरीब और जरूरतमंदों की सुविधा के लिए जीडीए बोर्ड के समक्ष प्रस्ताव रखेगा और यदि बोर्ड से हरी झंडी मिल गई तो आने वाले दिनों में जीडीए के आवंटियों को भी नोएडा और ग्रेटर नोएडा की तर्ज पर दस वर्षों तक किश्तों में भुगतान की सुविधा मिलने लगेगी।